जयपुर. राजस्थान में एक बार फिर बिजली संकट गहरा गया है। सोमवार से प्रदेशभर में 3 दिनों के लिए उद्योगों में रोज 3 घंटे (5 से 8 बजे) तक 75% तक बिजली कटौती की जाएगी। शनिवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की अध्यक्षता में हुई ऊर्जा विभाग की बैठक में यह फैसला लिया गया। उन्होंने कहा कि सरकार किसानों को पर्याप्त बिजली उपलब्ध कराने के लिए कटिबद्ध है। लेकिन फिलहाल प्रदेश में बिजली की आपूर्ति नहीं हो पा रही। ऐसे में उद्योगों की बिजली काट किसानों को मुहैया करवाई जाएगी। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बताया कि कृषि रकबे में बढ़ोतरी और रबी के मौसम में 1 लाख 20 हजार बिजली कनेक्शन में बढ़ोतरी हुई है। जिससे राजस्थान में बिजली की डिमांड बढ़ गई है। ऐसे में घरेलू और कृषि कार्यों के लिए पर्याप्त बिजली उपलब्ध कराने के लिए फिलहाल उद्योगों को मिल रही (125 केवीए क्षमता से अधिक) बिजली में कटौती करने का फैसला किया है। जैसे ही बिजली की आपूर्ति पहले की तरह सामान्य होगी उद्योगों के लिए होने जा रही कटौती को भी बंद कर दिया जाएगा। गहलोत ने कहा कि उत्तर प्रदेश, हरियाणा और पंजाब की बिजली उत्पादन इकाइयां बंद हो गई है। वही दूसरे राज्यों में बिजली की डिमांड बढ़ गई है। जिसके कारण है कि राजस्थान में पावर एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत बिजली नहीं पहुंच पा रही है। जबकि कोहरे के कारण इन दिनों कोल इण्डिया और दूसरी कम्पनियों से मिलने वाले कोयले की आपूर्ति में भी देरी हो रही है। जिससे हम डिमांड के अनुरूप बिजली सप्लाई करने में असमर्थ हैं।
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