बिहार सरकार ने जातिगत गणना सर्वे की रिपोर्ट जारी कर सियासी गलियारों में बड़ी हलचल मचा दी है. अब राजस्थान में भी कांग्रेस इस मुद्दे पर दांव खेलने के मूड में है. बिहार में जातिगत जनगणना के बाद राजस्थान में कांग्रेस जातिगत जनगणना को चुनावी वादे में शामिल करेगी. सूत्रों के मुताबिक बताया जा रहा है कि कांग्रेस राजस्थान में अपने चुनाव घोषणा पत्र में सत्ता में वापस आने पर जातिगत जनगणना कराने का वादा करेगी.
अशोक गहलोत सरकार के कैबिनेट मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कहा कि उनकी सरकार जातिगत जनगणना कराने के राहुल गांधी के वादे पर चलेगी. राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत बीते 11अगस्त को ही कह चुके हैं कि वे जातिगत जनगणना करवाएंगे और ओबीसी का आरक्षण बढ़ाएंगे. लेकिन राजस्थान में चुनाव में कम समय के चलते कांग्रेस अब इसे चुनावी वादे में शामिल कर ओबीसी वर्ग को लुभाने की कोशिश करेगी.
उल्लेखनीय है कि बिहार में नीतीश सरकार ने सोमवार को ही जातिगत गणना के आंकड़े सार्वजनिक किए हैं. उसके बाद इसको लेकर सियासी हलचल तेज हो गई है. बिहार में जातिगत गणना के आंकड़े पेश किए जाने के बाद सीएम नीतीश कुमार ने ट्वीट कर कहा था कि बिहार विधानसभा के सभी दलों की सहमति से जातिगत गणना करवाने का निर्णय लिया गया था. उन्होंने कहा कि इससे जातियों ही नहीं बल्कि उनकी आर्थिक स्थिति की भी जानकारी मिली है.
राजस्थान में जातिगत गणना की मांग समय-समय पर कई नेता उठाते रहे हैं. सीएम अशोक गहलोत बीते माह ही जातिगत जनगणना की बात कहकर अपना रूख स्पष्ट कर चुनावी दांव खेल चुके हैं. राहुल गांधी पहले भी इस मांग को कई बार उठा चुके हैं. राहुल गांधी ने सोमवार को भी बिहार के जातिगत आंकड़े जारी होने के बाद ट्वीट कर कहा था कि बिहार की जातिगत जनगणना से पता चला है कि वहां OBC + SC + ST 84% हैं. वहीं केंद्र सरकार के 90 सचिवों में सिर्फ 3 OBC हैं, जो भारत का मात्र 5% बजट संभालते हैं! इसलिए भारत के जातिगत आंकड़े जानना जरूरी है। जितनी आबादी, उतना हक – ये हमारा प्रण है.
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